सिद्धार्थनगर। चिल्हिया थाना के लखनपारा गांव में जमालुद्दीन पुत्र शमसुल्हक के घर बीती रात मौत कहर बन कर टूटी। उसो छप्पर के मकान में आधी रात को आग लगी, जिसमें उसके तीन कम उम्र बच्चे अपनी मां समेत जल कर भुन गये। खुद जमालुद्दीन जख्मी होकर अस्पताल में हैं। इस घटना से लखनपारा गांव ही नहीं पूरे इलाके में कोहराम मचा हुआ है। घटना की खबर मिलने के बाद क्षेत्रीय विधायक, व डीएम और एसपी सिद्धार्थनगर भी मौके पर पहुंच गये हैं। पूरे गांव में मातम छाया हुआ है।
बताया जाता है कि बीती रात बारह व एक बजे के बीत अचानक जमालुद्दीन उर्फ जमालू का छप्पर का मकान धू धू कर जलने लगा । घर के अंदर 25 वर्षीय जमालू, अपनी 21 साल की बीबी जैनब के साथ तीनों बच्चों 4 साल की बेटी रुखसार, 3 साल का बेटा कलीम, 11 माह का दुधमुंहा बेटे नसीम के साथ सो रहे थे। जब तक लोगों की नींद खुलती उनके ऊपर जलता हुआ छप्पर गिर पड़ा। घर का मुखिया जमालू किसी तरह आग की लपटों से जूझ कर बाहर निकला और शोर मचाना शुर किया।
बताया जाता है कि बीती रात बारह व एक बजे के बीत अचानक जमालुद्दीन उर्फ जमालू का छप्पर का मकान धू धू कर जलने लगा । घर के अंदर 25 वर्षीय जमालू, अपनी 21 साल की बीबी जैनब के साथ तीनों बच्चों 4 साल की बेटी रुखसार, 3 साल का बेटा कलीम, 11 माह का दुधमुंहा बेटे नसीम के साथ सो रहे थे। जब तक लोगों की नींद खुलती उनके ऊपर जलता हुआ छप्पर गिर पड़ा। घर का मुखिया जमालू किसी तरह आग की लपटों से जूझ कर बाहर निकला और शोर मचाना शुर किया।
बताते हैं कि शोर सुन कर गांव वाले दौड़े। उन्होंने मकान की आग बुझाया, मगर इस दौरान छपपर के नीचे दबे जैनब और उसके तीनों बच्चों की मौत हो चुकी थी। चश्मदीदों के अनुसार चारों की लाशें जल कर भुन चुकी थीं। इधर घायल जमालुद्दीनर्ऊु जमालू को गांव वालों ने जिला अस्पताल भेजा, जहां उसका इलाज चल रहा है। उसके दौनों हाथ और दोनों पैर जले हुए हैं। शरीर का शेष भाग सुरक्षित है।
घटना रहस्यमय, आखिर कैसे लगी आग?
जमालू के मकान में आग लगने का कारण रहस्यमय है। लोग इसको लेकर चर्चा कर रहे हैं। जिलाधिकारी कुणाल सिल्कू का कहना है कि आग शार्ट सर्किट से लगी, जबकि स्वयं जैनब के पति का कहना है कि जब घर में आग लगी तो बल्ब जल रहा था। इससे शार्ट सर्किट की बात गलत हो जाती है। उसका कहना है कि कमरे में लालटेन जल रही थी, हो सकता है कि आग उससे लगी हो। जमालू के भाई का कहना है कि शयद लालटेन पर बिल्ली कूद गई होगी, इससे आग लग गई होगी।
सवाल यह है कि जिसके घर में रात में बिजली जल रही हो, वह लालटेन को जला कर क्यों रखेगा? लालटेन जलती रहने की बात किसी को स्वाभाविक नहीं लग रही है। आग लगने के कारणों में जलती लालटेन के तर्क के कारण कुछ लोग जैनब के पति को ही संदेह की नजर से देखने लगे हैं। लोगों का कहना है कि आखिर उसके परिवार के चार सदस्य जल कर खाक हो गये तो उसके हाथ पैर मै जलने के अलावा पूरी शरीर सुरक्षित कैसे है? कुड लोगों कायह भी कहना है कि घटना के समय जमालू घर में नहीं था। वह आग लगने पर घर पहुंचा। बहरहाल सच क्या है, यह जांच के बाद भी सामने आ सकता है।
डीएम, एसपी व विधायक ने किया मौके का दौरा
घटना की सूचना मिलते ही सिद्धार्थनगर के डीएम कुणाल सिल्कू, एसपी, डा. धर्मवीर सिंह आज सुबह ही नखनपारा गांव में पहुंच गये। उन्होंने घटनास्थल का मुआयना किया। दोनों अफसरों ने घटना को दुखदायी बताते हुए हर मुमकिन मदद का एलान किया है। दूसरी तरफ मौके पर पहुंचे विधायक अमर सिंह चौधरी ने पीड़ित परिवार को सांत्वना दी तथा हर संभव मदद का अश्वासन भी दिया।
बता दें कि शमसुल का परिवार बेहद गरीब है। वह खुद मुम्बई में सिलाई का काम कर परिवार का भरण पोषण करता है। ग्रामीण बताते हैं कि अभी वह कुछ दिन पहले ही मुम्बई से गांव आया था और पक्का मकान बनवाने की तैयारी कर रहा था। जमालू के दो भाई भी हैं जो बंटवारा कर उसी गांव में मकान बना कर अलग रहते हैं।
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